सरसों के भाव में भारी उछाल; जिनके पास हैं स्टोक उन किसानों की हुई चांदी
sarso Mandi Bhav 9 September 2024: जानिए आज के सरसों के ताजा भाव, सरसों के तेल की कीमतों में सुधार और त्योहारी सीजन में भाव बढ़ने की संभावनाएं। किसानों के लिए राहत भरी खबर।
Aaj Ka Sarso Ka Bhav- सरसों के तेल की कीमतों में लंबे समय के बाद सुधार देखने को मिला है। किसानों के लिए यह राहत की खबर है क्योंकि हाल के महीनों में सरसों के रेट में लगातार गिरावट आई थी। केंद्र सरकार द्वारा निर्धारित न्यूनतम समर्थन मूल्य (MSP) 5650 रुपये प्रति क्विंटल के बावजूद, किसानों को अपनी फसल इससे भी कम कीमत पर बेचना पड़ा। इस बार मौसम के कारण सरसों का उत्पादन भी कम हुआ, जिससे किसानों को दोहरी मार झेलनी पड़ी।
सरसों के भाव में गिरावट का कारण
सरसों के भाव में गिरावट का मुख्य कारण विदेशी बाजार से सस्ता खाद्य तेल आयात होना है। भारत में व्यापारियों को सरसों के तेल के मुकाबले बाहर से आयातित सस्ता तेल अधिक फायदेमंद लग रहा है। इस कारण बड़ी मात्रा में विदेशी खाद्य तेल का आयात किया गया, जिससे घरेलू बाजार में सरसों के भाव दबाव में रहे। जनवरी से सरसों के रेट में गिरावट देखी गई थी, लेकिन अब कीमतों में धीरे-धीरे सुधार हो रहा है।
त्योहारी सीजन में सरसों के दामों में तेजी की उम्मीद
विशेषज्ञों का मानना है कि आने वाले त्योहारी सीजन के चलते सरसों तेल की मांग में तेजी आएगी। इस मांग के चलते सरसों के भाव में और इजाफा हो सकता है। कई किसानों और व्यापारियों का मानना है कि आने वाले दिनों में सरसों के दाम MSP से अधिक हो सकते हैं, जिससे किसानों को बेहतर कीमतें मिल सकेंगी। आज मंडियों में सरसों के भाव में औसतन 350 रुपये प्रति क्विंटल की तेजी देखने को मिली है।
आज का सरसों का भाव
नीचे देशभर की प्रमुख मंडियों में आज के सरसों के भाव का विवरण दिया गया है:
मंडी का नाम | राज्य | सरसों का अधिकतम भाव (रुपये/क्विंटल) |
---|---|---|
सिरसा मंडी | हरियाणा | 5550 |
हिसार मंडी | हरियाणा | 5420 |
आदमपुर मंडी | हरियाणा | 5300 |
जयपुर मंडी | राजस्थान | 5540 |
श्रीगंगानगर मंडी | राजस्थान | 5608 |
जोधपुर मंडी | राजस्थान | 5674 |
चिडावा मंडी | राजस्थान | 5725 |
इटावा मंडी | उत्तर प्रदेश | 5400 |
मैनपुरी मंडी | उत्तर प्रदेश | 5292 |
बरेली मंडी | उत्तर प्रदेश | 5660 |
काला कैलारस मंडी | मध्य प्रदेश | 5795 |
मुंबई मंडी | महाराष्ट्र | 5995 |
चंपारण मंडी | बिहार | 5705 |
सरसों का उत्पादन और भविष्य की चुनौतियां
इस साल बारिश के कारण सरसों का उत्पादन प्रभावित हुआ है। किसानों को अपनी फसलें 4400 रुपये से 5000 रुपये प्रति क्विंटल के बीच बेचनी पड़ी, जो कि MSP से कम है। इस गिरावट का एक और कारण विदेशी बाजारों से सस्ते तेल का आयात है, जो सरसों तेल की मांग को प्रभावित कर रहा है।
हालांकि, अब स्थिति में सुधार देखा जा रहा है, और किसानों को उम्मीद है कि आने वाले दिनों में उन्हें सरसों की फसल के लिए बेहतर कीमतें मिलेंगी। इसके अलावा, त्योहारी सीजन में सरसों तेल की मांग बढ़ने की संभावना है, जो किसानों के लिए राहत की खबर हो सकती है।
आने वाले दिनों में क्या होगा?
त्योहारी सीजन के मद्देनजर सरसों के तेल की मांग में बढ़ोतरी हो सकती है, जिससे सरसों के भाव में और तेजी देखी जा सकती है। बाजार के जानकारों का मानना है कि किसानों को अगले कुछ हफ्तों में बेहतर कीमतें मिलने की उम्मीद है।