सराफा कारोबारी दंपती की दुखद मौत; कर्ज के बोझ से तंग आकर गंगा में लगाई छलांग, पड़ताल में हुए कई बड़े खुलासे
Couple leavs a note before suicide : किशनपुरा निवासी सौरभ बब्बर और उनकी पत्नी मोना ने हरिद्वार में आत्महत्या कर ली, सुसाइड नोट और आखिरी सेल्फी से हुआ दर्दनाक हादसे का खुलासा
Couple leavs a note before suicide : सहारनपुर के किशनपुरा क्षेत्र के सराफा कारोबारी सौरभ बब्बर और उनकी पत्नी मोना की मौत ने पूरे इलाके को हिलाकर रख दिया। दोनों ने कर्ज के भारी बोझ से तंग आकर हरिद्वार में गंगा नदी में छलांग लगाकर अपनी जान दे दी। सौरभ का शव गंगा से बरामद कर लिया गया है, जबकि मोना का अब तक कोई सुराग नहीं लग पाया है। इस हृदयविदारक घटना ने सभी को गहरे सदमे में डाल दिया है।
कर्ज के दलदल में फंसकर उठाया आत्मघाती कदम
सौरभ और मोना ने आत्महत्या से पहले एक सुसाइड नोट छोड़ा, जिसमें उन्होंने अपनी आर्थिक तंगी और कर्ज से उत्पन्न हताशा का वर्णन किया। उन्होंने लिखा, “मैं सौरभ बब्बर कर्ज के दलदल में इस कदर फंस गया हूं कि बाहर निकलने का कोई रास्ता नहीं बचा। अंत में मैं और मेरी धर्मपत्नी मोना बब्बर अपना जीवन समाप्त कर रहे हैं।”
सुसाइड नोट में उन्होंने अपनी किशनपुरा वाली प्रॉपर्टी (दुकान और मकान) अपने बच्चों के नाम कर दी। दोनों बच्चों को उन्होंने अपनी नानी के घर छोड़ दिया था। सौरभ ने लिखा कि वह और मोना अपने बच्चों को नानी के हवाले छोड़कर जा रहे हैं, क्योंकि उन्हें किसी और पर भरोसा नहीं है। इसके साथ ही उन्होंने अपनी मौत की सूचना व्हाट्सएप पर फोटो शेयर कर दी।
दंपती की मौत से इलाके में मचा हड़कंप
सौरभ बब्बर का शव मिलने के बाद उनके घर पर लेनदारों की भीड़ जमा हो गई। मृतक सौरभ गोल्ड किटी के साथ-साथ कमेटी डालने का काम करता था, जिसमें 500 से 600 लोग शामिल थे। जैसे ही लोगों को सौरभ के शव मिलने की जानकारी मिली, वे तुरंत उनके घर पहुंचे, लेकिन वहां ताला लगा हुआ था। लोगों का आरोप है कि सौरभ के रिश्तेदार सुसाइड नोट मिलने के बाद दुकान से सामान और नकदी लेकर चले गए थे।
सोशल मीडिया पर वायरल हुई सौरभ की ऑडियो
सौरभ ने मौत से पहले एक ऑडियो बनाकर सोशल मीडिया पर वायरल की, जिसमें उन्होंने कहा, “यह सबको दिखा देना। हम हरिद्वार में हैं और हम जा रहे हैं दुनिया छोड़कर। हम यहां से छलांग लगा रहे हैं।”
कांग्रेस नेता इमरान मसूद ने पहुंचाई सांत्वना
घटना के बाद आज सुबह कांग्रेस नेता इमरान मसूद पीड़ित परिवार के घर पहुंचे और उन्हें सांत्वना दी। दंपती के अचानक उठाए गए इस कदम से परिवार और समाज में गहरा सदमा है। जांच में यह भी सामने आया है कि सौरभ और मोना साईं भक्त थे और पिछले चार साल से हर महीने भंडारा आयोजित करते थे।